Divorce की अर्जी Kerala HC ने स्वीकार किया, जब पत्नी ने पति पर आरोप लगाया, ना आगे पढ़ने दिया ना जीवनसाथी होने का सुख दिया
केरल हाई कोर्ट ने पत्नी के दावे को सही माना कि उसके पति ने वैवाहिक जीवन और शारीरिक संबंधों में कोई दिलचस्पी नहीं दिखाई और केवल धार्मिक गतिविधियों में लगा रहा.