क्या है पार्टनरशिप और को-ओनरशिप के बीच है अंतर? जानें क्या कहता है कानून
'भागीदारी' और 'सह-स्वामित्व' के बीच सबसे बड़ा अंतर यह है कि 'भागीदारी' व्यवसाय के लिए की जाती है बल्कि 'सह-स्वामित्व' का उद्देश्य पैसे कमाना नहीं होता है।
'भागीदारी' और 'सह-स्वामित्व' के बीच सबसे बड़ा अंतर यह है कि 'भागीदारी' व्यवसाय के लिए की जाती है बल्कि 'सह-स्वामित्व' का उद्देश्य पैसे कमाना नहीं होता है।
अपनी पत्नी के साथ विवाद में खुद अपनी पैरवी कर रहे आरोपी ने दावा किया कि उसे अदालत से न्याय नहीं मिल रहा है.
साल 1999 में पति की मौत के बाद जमीन उसकी पत्नी, बेटे और बेटी में बटवारा हो गया.
हमारे देश में कृषि भूमि अथवा आवासीय भूमि का हस्तांतरण एक पीढ़ी से दूसरी पीढ़ी को होता है.
कलकत्ता हाई कोर्ट की खंडपीठ ने हाल ही में एक अहम् टिप्पड़ी करते हुए कहा कि "भारतीय समाज में, यदि एक पति अपनी पत्नी के नाम पर संपत्ति प्राप्त करने के लिए प्रतिफल राशि की आपूर्ति करता है, तो इस तरह के तथ्य का अर्थ बेनामी लेनदेन नहीं है."
दाखिल खारिज (Mutation) की प्रक्रिया देश के सभी राज्यों के राजस्व कार्यालयों (तहसीलदार) स्तर पर की जाती है। यदि आपने किसी जमीन के टुकड़े को खरीद रखा है तो उसके दाखिल खारिज हेतु तहसीलदार के कार्यालय में अर्जी देनी होगी.
अगर कोई आपकी संपत्ति को गलत तरीके से हथियाने या लेने की कोशिश करता है तो आप उससे किस तरह बच सकते हैं और उसके लिए कानून में क्या प्रावधान है, जानिए
लोक अभियोजक योगेश यादव ने भाषा को बताया कि जिला अदालत ने कांग्रेस नेता की याचिका को आंशिक रूप से विचारार्थ स्वीकार कर लिया और वारंट को जमानती वारंट में बदल दिया.
संपत्ति के लालच में हिस्सेदार वसीयत के साथ अक्सर छेड़छाड़ करते हैं जिससे बाकी के हिस्सेदारों के साथ नाइंसाफी होती है, ऐसे में बाकी के हिस्सेदार परेशान होते हैं कि उन्हें क्या करना चाहिए
अगर आपको शक है कि वसीयत में छेड़छाड़ किया गया है या फिर आपको लगता है कि आपको जितना हक मिलना चाहिए उतना नहीं मिला है, तो ऐसे में आप कानून का सहारा ले सकते हैं
किसी भी मामले को शांति से भी बैठ कर सुलझाया जा सकता है लेकिन लालच ऐसा करने से रोकती है इसलिए कई बार जब बात पैतृक संपत्ति के बंटवारे की बात आती है तब कई घरों में खून खराबा भी हो जाता है.
किसी भी व्यापार में एग्रीमेंट का अहम किरदार होता है. जब हम किसी को अपना मकान रेंट पर देते हैं या किसी से लेते है तब अलग- अलग प्रकार के कानूनी समझौते किये जाते हैं ताकि भविष्य में कोई परेशानी ना हो.
आज हम आपको बताएंगें की Property कितने प्रकार की होती है और property registration कब कराना होता है.
Power of Attorney या मुख्तारनामा अधिनियम, 1882 इसके द्वारा प्रॉपर्टी का मालिक अपनी शक्तियों का ट्रांसफर किसी दूसरे व्यक्ति को करता है. ताकि वह उसके गैरमौजूदगी में संपत्ति से संबंधित जरूरी फैसले कर सके.
इसके माध्यम से प्रॉपर्टी का मालिक या कोई व्यक्ति अपनी शक्तियों का ट्रांसफर किसी दूसरे व्यक्ति को करता है. ताकि वह उसके गैरमौजूदगी में संपत्ति से संबंधित जरूरी फैसले कर सके.
हमारे देश में गिफ्ट देने का खूब चलन है. लेकिन अगर आप किसी करीबी को अपनी प्रॉपर्टी गिफ्ट करना चाहते हैं तो उसके लिए आपको Gift Deed बनवाना पड़ेगा।
क्या होगा अगर आप दो साल से अपने घर से दूर हैं किसी कारण से और आपके पीछे आपकी संपत्ति को सरकार के द्वारा जब्त कर लिया गया है, ऐसे में आप इन नियमों के तहत अपनी संपत्ति को वापस ले सकते हैं.
दिल्ली में सड़क पर पीएम का पोस्टर चिपकाने पर लोगों की गिरफ़्तारी इसलिए हुई कि पोस्टर में प्रिंटर या इसे किसने छापा है, इसका कोई ज़िक्र नहीं था, जो अधिनियम और इस धारा का उल्लंघन है.