नई दिल्ली: स्वापक नियंत्रण ब्यूरो (Narcotics Control Bureau) ने मंगलवार को उच्चतम न्यायालय (Supreme Court of India) से कहा कि वह अभिनेता सुशांत सिंह राजपूत (Sushant Singh Rajput) की मौत से जुड़े मादक पदार्थ मामले की जांच के सिलसिले में अभिनेत्री रिया चक्रवर्ती (Rhea Chakraborty) को दी गयी जमानत को चुनौती नहीं दे रहा।
अतिरिक्त सॉलिसीटर जनरल (Additional Solicitor General) एस वी राजू (SV Raju) ने न्यायमूर्ति ए एस बोपन्ना (Justice AS Bopanna) और न्यायमूर्ति एम एम सुंदरेश (Justice MM Sundaresh) की पीठ से कहा कि एनसीबी (NCB) जमानत को चुनौती नहीं दे रही, लेकिन स्वापक औषधि और मन:प्रभावी पदार्थ (Narcotis Drugs and Psychotropic Substances) कानून की धारा 27-ए के संबंध में कानून के प्रश्न को खुला रखा जाना चाहिए।
समाचार एजेंसी भाषा के हिसाब से सुशांत सिंह राजपूत की प्रेमिका रहीं चक्रवर्ती को जमानत देने के बंबई उच्च न्यायालय के आदेश के खिलाफ एनसीबी की याचिका पर सुनवाई कर रही शीर्ष अदालत ने अभिनेत्री की जमानत पर एनसीबी के रुख में बदलाव पर एएसजी की दलील पर संज्ञान लिया, लेकिन स्पष्ट किया कि उच्च न्यायालय के फैसले को किसी अन्य मामले में मिसाल के रूप में नहीं लिया जाएगा।
पीठ ने कहा, ‘‘एएसजी की दलील सुनने के बाद, इस स्तर पर जमानत देने के संबंध में लागू आदेश को चुनौती देने की आवश्यकता नहीं लगती।’’
एनसीबी ने चक्रवर्ती को एनडीपीएस कानून की धारा 27-ए के तहत आरोपित किया है जो ‘अवैध मादक पदार्थों की तस्करी को वित्तपोषित करने और प्रश्रय देने' से संबंधित है। इसमें 10 साल तक के कारावास और जमानत दिये जाने पर रोक का प्रावधान है।
उच्च न्यायालय ने कहा था कि किसी ड्रग संबंधी लेनदेन के लिए भुगतान करने का मतलब मादक पदार्थ की तस्करी को वित्तपोषित करना नहीं है। उसने कहा था, ‘‘इसलिए आवेदक के खिलाफ सुशांत सिंह राजपूत के लिए मादक पदार्थ खरीदने में धन खर्च करने के आरोप का मतलब यह नहीं होगा कि उन्होंने अवैध तस्करी के लिए धन दिया था।''