बनारस हिंदू यूनिवर्सिटी (BHU) के छात्र की हत्या मामले में इलाहाबाद हाईकोर्ट (Allahabad High Court) ने राज्य सरकार से कार्रवाई को लेकर स्पष्टीकरण की मांग की है. हाईकोर्ट ने राज्य सरकार से 4 दिसंबर तक बताने को कहा है कि क्या मामले में संलिप्त दो पुलिस कांस्टेबलों और एक होमगार्ड के खिलाफ चार्जशीट दायर किए गए हैं या नहीं. बता दें कि बीएचयू छात्र की रहस्यमयी स्थिति में मौत हो गई थी, मामले में पुलिस पर संलिप्तता के आरोप लगे हैं. आइये जानते हैं पूरा मामला..
इलाहाबाद हाईकोर्ट में चीफ जस्टिस अरुण भंसाली और जस्टिस विकास कुमार बुधवार की खंडपीठ ने सरकार से चार दिसंबर तक जवाब दाखिल करने को कहा है. यह मामला एक छात्र से जुड़ा है जो रहस्यमयी परिस्थितियों में 2020 में लापता हो गया था और कुछ पुलिसकर्मियों की संलिप्तता के आरोप लगे थे. वर्ष 2022 में सीबी-सीआईडी ने अपनी जांच में पाया कि 2020 में जिस शव की अंत्येष्टि की गई थी, वह बीएचयू के छात्र का था. हाईकोर्ट में यह बयान दिए जाने से इस बात की पुष्टि हो गई कि लापता छात्र अब इस दुनिया में नहीं रहा.
अगस्त, 2020 में अधिवक्ता सौरभ तिवारी ने इस छात्र के लापता होने के संबंध में एक पत्र याचिका दायर की जिसके बाद उच्च न्यायालय ने इस मामले का संज्ञान लिया और नवंबर, 2020 में इस मामले की जांच सीबी-सीआईडी को स्थानांतरित की. आरोपों के मुताबिक, इस छात्र को 12 फरवरी को बीएचयू के एमपी थिएटर ग्राउंड से कुछ पुलिसकर्मियों द्वारा उठाया गया और लंका थाना ले जाया गया. उसके पिता ने वरिष्ठ पुलिस अधिकारियों के पास कई बार शिकायतें की और आईजीआरएस पर शिकायत दर्ज कराई, लेकिन ये सभी प्रयास बेकार रहे.