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अबकी फैसला Calcutta HC ने सुनाया, ब्रेस्ट दबाने की कोशिश रेप नहीं, बल्कि Sexual Assault है

कलकत्ता हाई कोर्ट ने पाया कि पीड़िता के स्तनों को छूने का प्रयास केवल 'गंभीर यौन हमला' का आरोप ही सिद्ध करता है, 'बलात्कार का प्रयास' नहीं.

Written by Satyam Kumar |Published : April 28, 2025 10:53 AM IST

हाल ही में कलकत्ता हाई कोर्ट ने कहा कि विक्टिम के ब्रेस्ट को छूने का प्रयास केवल 'गंभीर यौन हमला' का आरोप सिद्ध करता है, 'बलात्कार नहीं. इससे पहले इलाहाबाद हाई कोर्ट ने सिमिलर फैसला सुनाया था, तो लोगों ने इसे लेकर सोशल मीडिया पर काफी तीखी प्रतिक्रिया दी थी. आइये जानते हैं कि कलकत्ता ने क्यों इस घटना को रेप की जगह गंभीर यौन हमले का प्रयास माना.

रेप का प्रयास नहीं बल्कि गंभीर यौन हमला: HC

कलकत्ता हाई कोर्ट एक स्पेशल पॉक्सो कोर्ट के फैसले के खिलाफ अपील पर सुनवाई कर रही थी. निचली अदालत ने आरोपी को 'गंभीर यौन हमला' और 'बलात्कार का प्रयास' दोनों के लिए दोषी पाते हुए उसे 12 साल की कठोर कारावास की सजा सुनाई थी. कलकत्ता हाई कोर्ट ने रिकॉर्ड पर रखे गए सबूतों को देखने के बाद कहा कि मेडिकल रिपोर्ट में किसी प्रकार का प्रवेश या प्रवेश के प्रयास का कोई संकेत नहीं मिला, इसलिए 'बलात्कार के प्रयास' के आरोप को सही नहीं माना जा सकता है.