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Stalking: अगर कोई आपका पीछा कर रहा है तो? जानिए क्या करें

National Crime Record Bureau (NCRB) के आंकड़ों के अनुसार साल 2022 तक अकेले स्टॉकिंग के तकरीबन 14,175 ऐसे मामले थे जिनकी जांच चल रही थी. 9,285 ऐसे मामले थे जो पिछले साल दर्ज किए गए थे. जबकि 4,890 ऐसे मामले थे जिनकी जांच शुरु भी नहीं हुई थी.

Written by My Lord Team |Published : March 14, 2023 5:38 AM IST

नई दिल्ली: देश में महिलाओं से संबंधित बढ़ते अपराध को नियंत्रित करने के लिए कई तरह के कानून बनाए गए हैं. आईपीसी की धारा 354 में महिलाओं के खिलाफ होने वाले अपराधों और सजा के बारे में विस्तार से बताया गया है। IPC की 354D में महिलाओं का पीछा करने (Stalking) से संबंधित अपराध के बारे में बताया गया है.

Stalking क्या है

भारतीय दंड संहिता (Indian Penal Code -IPC) 1860 की धारा 354D के अनुसार, "जो कोई पुरूष किसी स्त्री का पीछा किसी गलत इरादे से करता है या किसी के लिये करता है अथवा इण्टनेट, इमेल या इलेक्ट्रानिक संसूचना के माध्यम निगरानी करता है तो वह इस धारा के अन्तर्गत कारावास से दंडित किया जाएगा, साथ ही जुर्माने से भी दंडित किया जाएगा।"

पहली बार ऐसा करते हुए पकड़े जाने पर दोषी को तीन साल की जेल की सजा और जुर्माना लगाया जाएगा. दूसरी बार इस अपराध में दोषी पाए जाने पर अपराधी को पांच साल की जेल और जुर्माने से दंडित किया जा सकता है

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इस धारा में यह भी बताया गया है अगर किसी को कानून की तरफ से किसी लड़की की सुरक्षा के लिए कोई आदेश मिला है तो वह स्टॉकिंग नहीं कहलाएगा, लेकिन इसके लिए उसे साबित करना होगा कि कानून की तरफ से पीछा करने वाले को ऐसा कोई आदेश मिला था.

वही अगर कोई सोशल मीडिया के माध्यम किसी लड़की की सुरक्षा के लिए नजर रख रहा है, तो वो अपराधी नहीं माना जाएगा लेकिन इसके लिए भी आरोपित को यह साबित करना होगा की कानून की और से उसे ऐसा करने के लिए कहा गया था.

अगर कोई पीछा करे तो क्या करना चाहिए

1. सबसे पहले अगर कोई पीछा कर रहा है तो आप पुलिस स्टेशन में शिकायत दर्ज करवाएं.

2. अगर आप कहीं जा रहे हैं और अचानक से आपको लगता है कि कोई आपका पीछा कर रहा है और आपसे पुलिस स्टेशन काफी दूर है तो आपको 1091 नंबर पर कॉल करना होगा. ये नंबर पूरे देश में काम करता है. जैसे ही आप कॉल करके अपनी परेशानी बताएंगे. वैसे ही इसकी सूचना आपके पास के स्थानीय पुलिस स्टेशन को दे दी जाएगी. उसके बाद आप शिकायत के लिए दिए गए रेफरेंस नंबर से FIR के साथ साथ आगे की कार्रवाई करवा सकते हैं.

3. राष्ट्रीय महिला आयोग की वेबसाइट पर जाकर अपनी शिकायत कर सकते हैं. शिकायत करने के बाद आपको एक रसीद नंबर मिलता है.

आयोग दस दिन में शिकायत पर विचार करता है. पीड़िता अगर चाहे तो दोबारा रसीद नंबर के साथ संपर्क कर उनसे पुलिस में शिकायत करने की प्रक्रिया के बारे में जान सकते हैं.

'स्टॉकिंग' कानून कब बना

साल 2012 में हुए 'निर्भया' केस के बाद साल 2013 में महिलाओं के खिलाफ हिंसा के कानून में संशोधन किया था.

साल 2013 में पारित किए गए 'क्रिमिनल अमेंडमेंट ऐक्ट' के तहत ही 'स्टॉकिंग' यानि ग़लत इरादे से एक औरत का पीछा करने को दंडनीय अपराध करार दिया गया.

आपको बता दे की National Crime Record ब्यूरो (NCRB) के आंकड़ों के अनुसार साल 2022 तक अकेले स्टॉकिंग के तकरीबन 14,175 ऐसे मामले थे जिनकी जांच चल रही थी. 9,285 ऐसे मामले थे जो पिछले साल दर्ज किए गए थे. जबकि 4,890 ऐसे मामले थे जिनकी जांच शुरु भी नहीं हुई थी.