कन्हैया लाल के मर्डर पर बनी उदयपुर फाइल्स की रिलीज से जुड़ी याचिकाओं पर सुप्रीम कोर्ट कल सुनवाई करेगा. इससे पहले सुप्रीम कोर्ट ने इस फिल्म के रिलीज पर त्वरित रोक लगाने से जुड़ी याचिका पर सुनवाई करने से इंकार कर दिया था. आज कन्हैया लाल मर्डर केस के आरोपी जावेद ने भी फिल्म के रिलीज से जुड़ी प्रोड्यूसर की याचिका पर साथ में सुनवाई करने की गुजारिश की. आज वकील मेनका गुरुस्वामी ने जस्टिस सूर्यकांत की अध्यक्षता वाली बेंच के सामने मामला रखा. वकील ने बताया कि इस फिल्म की रिलीज पर हाई कोर्ट की ओर से लगाई गई अंतरिम रोक के खिलाफ प्रोड्यूसर की अर्जी पहले से सुनवाई के लिए लगी है. उसी के साथ जावेद की अर्जी पर सुनवाई कर ले. जावेद का कहना है कि इस फिल्म में पुलिस का एकतरफा पक्ष दिखाया गया है जिससे उसके खिलाफ पेंडिंग केस का ट्रायल बाधित हो सकता है. सुप्रीम कोर्ट ने आश्वासन देते हुए कहा कि उदयपुर फाइल्स से जुड़ी सभी याचिकाओं पर कल एक साथ सुनवाई करेगा.
इससे पहले दिल्ली हाई कोर्ट ने उदयपुर फाइल्स के रिलीज पर अंतरिम रोक लगाया था. दिल्ली हाई कोर्ट का ये फैसला फिल्म की स्क्रीनिंग होने के एक दिन बाद सुनाया गया. इसके साथ अदालत ने याचिकाकर्ताओं की मांग पर केन्द्र सरकार को विचार करने को कहा है. फैसले में चीफ जस्टिस डीके उपाध्याय और जस्टिस अनीश दयाल की खंडपीठ ने याचिकाकर्ताओं को निर्देश दिया कि वे दो दिन के भीतर अपनी शिकायत केंद्र सरकार से करें. दिल्ली हाई कोर्ट ने आगे कहा कि हम यह प्रावधान करते हैं कि जब तक पुनर्विचार याचिका के साथ याचिकाकर्ता द्वारा अंतरिम राहत के लिए दायर आवेदन पर सरकार की ओर से फैसला नहीं हो जाता, तब तक फिल्म की रिलीज पर रोक रहेगी.
हाई कोर्ट ने कहा कि फिल्म निर्माता का घृणास्पद भड़काऊ सामग्री बनाने का इतिहास रहा है. पीठ ने पाया कि निर्माता ने ट्रेलर के साथ वह हिस्सा भी अपलोड कर दिया जिसे हटाने का आदेश दिया गया था. अदालत ने फिल्म प्रमाणन बोर्ड का प्रतिनिधित्व कर रहे अतिरिक्त सॉलिसिटर जनरल चेतन शर्मा के इस कथन पर भी गौर किया कि केंद्रीय फिल्म प्रमाणन बोर्ड कानून के तहत आवश्यक कार्रवाई करेगा. पीठ ने याचिकाकर्ता को सोमवार तक सरकार से संपर्क करने का निर्देश दिया गया था. अब फिल्म के निर्माताओं ने इस फैसले को सुप्रीम कोर्ट में चुनौती दी है.