
CJI BR Gavai
जस्टिस बीआर गवई ने बुधवार को सीजीआई पद की शपथ ली. वे देश के 52वें सीजेआई बने.

राष्ट्रपति ने दिलाई शपथ
राष्ट्रपति भवन में राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने उन्हें शपथ दिलाई. सीजेआई बीआर गवई ने अपने पद की शपथ हिंदी में ली.

देश के दूसरे दलित CJI
जस्टिस बीआर गवई देश के दूसरे दलित मुख्य न्यायाधीश हैं. उनसे पहले जस्टिस के. जी. बालाकृष्णन इस पद पर आसीन रहे थे. जस्टिस बालाकृष्णन साल 2007 में सुप्रीम कोर्ट के चीफ जस्टिस बने थे.

हाल ही में एक अनौपचारिक बातचीत में गवई ने कहा था कि वे देश के पहले बौद्ध चीफ जस्टिस बनने जा रहे हैं.

पीएम मोदी सहित ये लोग रहे मौजूद
शपथ समारोह के दौरान पीएम नरेन्द्र मोदी, लोकसभा अध्यक्ष ओम प्रकाश बिरला और रक्षा मंत्री राजनाथ सहित अन्य अतिथि मौजूद रहें.

CJI ने अतिथियों का किया अभिवादन
अपने ज्यूडिशियल सर्विस में, 14 नवंबर 2003 को वे बॉम्बे हाई कोर्ट के अतिरिक्त न्यायाधीश बनाए गए. वहीं, 12 नवंबर 2005 को स्थायी न्यायाधीश के रूप में पदोन्नत किए गए.

सुप्रीम कोर्ट के चीफ जस्टिस
24 मई 2019 को उन्हें भारत के सर्वोच्च न्यायालय का जस्टिस नियुक्त किया गया. अपने छह वर्षों के कार्यकाल में जस्टिस बीआर गवई करीब 700 पीठों का हिस्सा रहे हैं.

महात्मा गांधी को माल्यार्पण
शपथ समारोह के बाद जस्टिस सुप्रीम कोर्ट में बने महात्मा गांधी की प्रतिमा पर माल्यार्पण किया,


CJI के रूप इन मुद्दों पर रहेगा फोकस
जस्टिस गवई की न्यायशासत्र के संविधान, प्रशासनिक, दीवानी, आपराधिक, वाणिज्यिक, पर्यावरण और शिक्षा संबंधी मामलों पर बेहद अच्छी पकड़ है. जस्टिस गवई ने अपने CJI कार्यकाल के दौरान लंबित मामलों के निपटारे पर फोकस करेंगे, जिससे अदालतों के सामने लंबित मामलों की संख्या कम हो.