पश्चिम बंगाल शिक्षक भर्ती घोटाला मामले को लेकर अपने आदेश में सुप्रीम कोर्ट ने कुछ रियायत दी है. कोर्ट ने अकादमिक सत्र जारी रहने के आधार पर 9वीं से 12वीं तक के उन शिक्षकों को कुछ समय तक बनाए रखने की छूट दी, जो दागी नही है. हालांकि कोर्ट ने साफ किया कि ग्रुप सी और डी कर्मचारियों को कोई राहत नहीं मिलेगी। सुप्रीम कोर्ट ने शर्त रखी है कि राज्य सरकार 31 मई तक नई भर्ती का विज्ञापन निकाल दे. नई नियुक्तियां 31 दिसंबर तक पूरी हो जाए. 3 अप्रैल को दिए फैसले में सुप्रीम कोर्ट ने 25000 से ज्यादा नियुक्तियों को रद्द कर दिया था, अब छात्रों की पढ़ाई के नुकसान का हवाला दे रही राज्य सरकार के अनुरोध पर शिक्षकों को फिलहाल काम करने की अनुमति दी है.
इससे पहले, सुप्रीम कोर्ट ने राज्य सरकार की ओर से सुपरन्यूमेरेरी पोस्ट बनाने के फैसले की CBI जांच के कलकत्ता HC के आदेश को रद्द किया था. यह फैसला चीफ जस्टिस संजीव खन्ना की अगुवाई वाली पीठ मंगलवार को सुनाया है. यह मामला पहले स्कूल सर्विस कमीशन (SSC) की लगभग 26,000 नौकरियों से संबंधित मामले के साथ चल रहा था, जिसमें पिछले सप्ताह सुप्रीम कोर्ट ने फैसला सुनाया था. तब यह घोषणा की गई थी कि मंगलवार को सुपरन्यूमेरेरी पदों के संबंध में राज्य का पक्ष सुना जाएगा. हालांकि, सुप्रीम कोर्ट ने 26000 नियुक्तियों को रद्द करने के फैसले को बरकरार रखा है.
SSC में नियुक्ति के लिए लगभग 6,000 सुपरन्यूमेरेरी पद सृजित किए गए थे, जिन पर वर्तमान में सुप्रीम कोर्ट की रोक लगी हुई है. इस मामले में, कलकत्ता हाई कोर्ट ने कहा था कि सीबीआई चाहे तो राज्य के मंत्रिमंडल के सदस्यों को हिरासत में लेकर पूछताछ कर सकती है; इस आदेश पर भी रोक लगी हुई है. मंगलवार को मुख्य न्यायाधीश की पीठ में राज्य इस विषय पर क्या प्रस्तुत करता है, इस पर सभी की नजरें टिकी हैं.
दरअसल बंगाल सरकार ने दागी उम्मीदवारों को समायोजित करने के लिए अतिरिक्त शिक्षक पदों का सृजन किया था. कलकत्ता हाई कोर्ट ने 25 हज़ार से ज़्यादा शिक्षको की नियुक्ति रद्द करने के साथ साथ इन पोस्ट के सृजन के ममता सरकार के फैसले की भी सीबीआई जांच का आदेश दिया था. आज सुप्रीम कोर्ट ने अतिरिक्त पदों(suppernumerary posts) बनाने के फैसले की CBI जांच के HC के आदेश को खारिज कर दिया है. लेकिन सुप्रीम कोर्ट ने यह भी साफ किया कि आज का आदेश अतिरिक्त पदों के सृजन की जांच करने के मामले तक सीमित है और किसी भी तरह से इस पूरे घोटाले केअन्य पहलुओं में जो सीबीआई जांच कर रही है या चार्जशीट दाखिल कर रही है , उस पर इसका कोई असर नहीं होगा.