यूपी संभल से समाजवादी पार्टी (SP) के सांसद जियाउर्रहमान बर्क पर बिना नक्शा पास कराए अवैध निर्माण करने के मामले में मंगलवार को सुनवाई हुई, लेकिन उनकी पक्ष से अभी तक कोई भी साक्ष्य प्रस्तुत नहीं किया गया. अदालत अब इस मामले की अगली सुनवाई 22 मार्च को करेगी. एसडीएम वंदना मिश्रा ने बताया कि बिना नक्शा के अवैध निर्माण मामले में आज भी कोई कागज और साक्ष्य उपलब्ध नहीं कराए गए, ना ही उनके द्वारा कोई ऐसे साक्ष्य दिए गए जिससे यह सिद्ध हो कि मकान किसी और व्यक्ति का है। सांसद बर्क की तरफ से कोई साक्ष्य नहीं दिए जा रहे हैं.
एसडीएम वंदना मिश्रा ने बताया कि मंगलवार को हमने एक टीम गठित की है, जो जांच कर यह रिपोर्ट देगी कि यह निर्माण कितना पुराना है. तीन दिन में यह रिपोर्ट आएगी। इसके बाद हम आगे की कार्रवाई करेंगे। इस मामले में अगली तारीख अब 22 मार्च निर्धारित की गई है.बता दें कि समाजवादी पार्टी के सांसद जियाउर्रहमान बर्क पर बिना नक्शा पास कराए अवैध निर्माण करने के मामले में मंगलवार को एसडीएम कोर्ट में सुनवाई हुई. इस मामले में सांसद की तरफ से अभी तक कोई साक्ष्य उपलब्ध नहीं कराए गए हैं. इसके पहले दस फरवरी को सुनवाई के दौरान समय से साक्ष्य न प्रस्तुत कर पाने पर आर्थिक दंड भी लगाया था. बिना नक्शा पास कराए मकान बनाना उत्तर प्रदेश रेगुलेशन ऑफ बिल्डिंग ऑपरेशन एक्ट 1958 का उल्लंघन माना जाता है. सपा सांसद को इस मामले में नोटिस जारी किए गए थे, लेकिन अभी तक उनके पक्ष से संतोषजनक उत्तर नहीं मिला है. एसडीएम ने सांसद की ओर से उनके वकील अदालत में मौजूद हुए और फिर से समय मांगने का प्रार्थना पत्र दिए.
सपा सांसद जियाउर्ररहमान बर्क को यूपी पुलिस ने मुख्य आरोपी बनाया है. संभल पुलिस का आरोप है कि बर्क ने हिंसा से कुछ दिन पहले मस्जिद में भड़काऊ भाषण दिया था, जिसके बाद स्थिति बिगड़ी. इस हिंसा में पत्थरबाजी और आगजनी के कारण स्थिति और बिगड़ गई, जिसमें कई पुलिस वाहन क्षतिग्रस्त हो गए थे. हिंसा को लेकर पुलिस ने एफआईआर में स्थानीय विधायक इकबाल महमूद के बेटे सोहेल इकबाल का भी नाम शामिल किया है.
संभल हिंसा के बाद यूपी पुलिस ने जिले में बिजली चेकिंग अभियान चला रही है. चेकिंग के दौरान पुलिस को बिजली चोरी के बहुतायात मामले मिली है. सपा सांसद जियाउर्ररहमान बर्क के अलावे पुलिस ने सपा विधायक इकबाल महमूद के बेटे सोहेल इकबाल के खिलाफ भी शिकायत दर्ज की है. वहीं, संभल में बिजली चेकिंग की जांच करने के दौरान पुलिस ने अब तक सात मामले दर्ज किए हैं, जिसमें 25 लोगों को गिरफ्तार किया गया है.