झारखंड हाईकोर्ट (Jharkhand High Court) ने आज (05 फरवरी, 2024) झारखंड के पूर्व सीएम हेमंत सोरेन(Hemant Soren) की जमानत याचिका पर सुनवाई की. सुनवाई में हेमंत सोरेन को फिलहाल जमानत देने से इंकार किया है. वहीं, ईडी (ED) को मामले में अपना जबाव दाखिल करने का फैसला दिया है. पहले, हेमंत सोरेन की जमानत याचिका पर सुप्रीम कोर्ट ने सुनवाई से इंकार करते हुए संबंधित हाईकोर्ट जाने के निर्देश दिये थे.
झारखंड हाईकोर्ट में चीफ जस्टिस एस. चंद्रशेखर और जस्टिस अनुभा रावत की बेंच ने इस मामले की सुनवाई की. बेंच ने सुनवाई के दौरान ईडी को निर्देश देते हुए कहा कि वे इस मामले में 9 फरवरी तक अपना जबाव दें. ऐसा कहकर कोर्ट ने मामले में आगे की सुनवाई 12 फरवरी के दिन नियत की है.
हेमंत सोरेन को भले ही अभी जमानत नहीं मिली है. इसके बावजूद वो झारखंड विधानसभा में आज (5 फरवरी, 2024) को होने वाले विश्वास मत में भाग लेंगे. हेमंत सोरेन को ये इजाजत रांची की एक विशेष अदालत ने दी है. अदालत के सामने हेमंत सोरेन ने कहा था कि वे विधानसभा (Legislative Assembly) के सदस्य है और उन्हें इस विश्वास मत में भाग लेना उनका अधिकार है.
हेमंत सोरेन की रिट याचिका पर त्वरित सुनवाई के लिए 4 जजों की बेंच गठित की गई जिसमें सीजेआई डीवाई चंद्रचूड़, जस्टिस संजीव खन्ना, एमएम सुंदरेश और जस्टिस बेला एम त्रिवेदी शामिल थे. मामले की सुनवाई शुरू होते ही जस्टिस संजीव खन्ना ने कहा कि इस मामले को पहले हाईकोर्ट के समक्ष पेश करें. इसके बाद कोर्ट ने इस मामले में आगे सुनवाई करने से मना कर दिया.
ED ने हेमंत सोरेन के खिलाफ FIR दर्ज किया. आरोप लगा कि हेमंत सोरेन ने अवैध तरीके से रांची में 8.5 एकड़ की जमीन हासिल की. ED ने जांच के दौरान पाया कि इन जमीनों के कागजात नकली है. उन्होंने इस संपत्ति को एक बड़े सिंडिकेट के साथ मिलकर बनाया है जिसमें लैंड माफिया और नौकरशाही के कई अफसर भी शामिल है.