नई दिल्ली: दान देना पुण्य का काम माना जाता है लेकिन क्या आप जानते हैं कि ये दान आपको Income Tax में छूट भी दिला सकता है. हमारे देश में लोग कई तरह की चैरिटी करते हैं. कुछ लोग अस्पताल को दान देते हैं, कुछ अनाथ आश्रम में, तो कुछ मंदिरों में. इसे बढ़ावा देने के लिए ही सरकार ऐसे दान पर टैक्सपेयर्स को टैक्स छूट भी देती है.
इनकम टैक्स एक्ट में ऐसे प्रावधान किए गए हैं, जिसमें आपको डोनेशन पर भी टैक्स छूट मिलती है. यानी कि आप किसी एनजीओ या किसी भी धार्मिक कामों में लगे संगठन को दान दे रहे हैं तो आप इसपर आईटी एक्ट की धारा 80G पर टैक्स डिडक्शन के लिए क्लेम कर सकते हैं, लेकिन इसे लेकर कुछ शर्तें लागू होती हैं, जिनके तहत ही छूट की मांग आप कर सकते हैं.
Income Tax Act की धारा 80G के तहत, अगर आप कहीं दान या चंदा देते हैं तो इस पर आप टैक्स छूट के लिए क्लेम कर सकते हैं. सरकार की ओर से बनाए गए राहत कोषों और जनकल्याण के काम करने वाली संस्थाओं को दिए गए दान पर आप टैक्स में छूट ले सकते हैं.
इस तरह के टैक्स में छूट के लिए जरुरी नहीं हैं कि दान देने वाला कोई व्यक्ति ही हो, अगर कोई कंपनी या फर्म भी दान करती है तो उन्हें भी इस टैक्स कटौती का फायदा मिल सकता है.
धारा 80G के तहत हर वो भारतीय नागरिक या NRI टैक्स छूट के लिए क्लेम कर सकता है, जिसने सरकार द्वारा अनुमानित फंड, संस्था या संगठन में निवेश किया है. इस धारा के तहत इंडीविजुअल, कंपनीज़, फर्म्स, हिंदु अविभाजित परिवार, एनआरआई, और अन्य लोग टैक्स छूट पा सकते हैं. हालांकि, ये टैक्स छूट अभी तक बस ओल्ड टैक्स रिजीम में ही उपलब्ध है, न्यू टैक्स रिजीम में ऐसी छूट उपलब्ध नहीं है.
धारा 80G के तहत टैक्स छूट के लिए जो फंड हैं, उनमें कुछ पर आपको 50 से 100 पर्सेंट डिडक्शन बिना किसी मैक्सिमम लिमिट के मिलता है. वहीं कुछ पर आपको 50 से 100 पर्सेंट डिडक्शन एक मैक्सिमम लिमिट के साथ मिलता है.
आप डोनेशन पर टैक्स छूट तभी क्लेम कर पाएंगे जब आपका पेमेंट मोड चेक या डिमांड ड्राफ्ट होगा, या फिर अगर आप कैश में पेमेंट कर रहे हैं तो 2,000 रुपये से कम डोनेशन पर ही आप टैक्स में छूट के लिए क्लेम कर सकते हैं.
अगर आप 2,000 रुपये से ज्यादा दान कर रहे हैं तो आपको कैश के अलावा दूसरे उपलब्ध पेमेंट मोड का इस्तेमाल करना होगा, तभी आप 80G के अंदर डिडक्शन क्लेम कर पाएंगे.