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सुप्रीम कोर्ट ने पहली बार अदालती कार्यवाही का लाइव ट्रांसक्रिप्शन शुरू किया

अदालती कार्यवाही के लाइव ट्रांसक्रिप्शन को प्रदर्शित करने वाली स्क्रीन को वकीलों के सामने कोर्ट रूम 1 में रखा गया है. भविष्य में सुप्रीम कोर्ट मौखिक दलीलों की प्रतिलिपि अपनी वेबसाइट पर उपलब्ध करा सकता है.

Written by Nizam Kantaliya |Published : February 21, 2023 7:50 AM IST

नई दिल्ली: देश की सर्वोच्च अदालत ने आर्टीफिशल इंटेलिजेंस (एआई) और नेचुरल लैंग्वेज प्रोसेसिंग द्वारा संचालित तकनीक का उपयोग करते हुए पहली बार प्रायोगिक आधार पर लाइव ट्रांसक्रिप्शन लॉन्च किया हैं.

न्यायिक इतिहास में यह शुरूआत देश के मुख्य न्यायाधीश डी वाई चन्द्रचूड़ की कोर्ट रूम से शुरू की गई है. मुख्य न्यायाधीश के कोर्ट रूम से experimental basis पर मंगलवार सुबह 10.30 बजे से शुरू की गई इस लाइव ट्रांसक्रिप्शन में सुनवाई के दौरान जो भी बहस की जा रही है, स्क्रीन पर वे शब्दों के रूप में प्रदर्शित हो रहे थे.

सीजेआई कोर्ट से शुरूआत

CJI डी वाई चन्द्रचूड़ की अध्यक्षता संविधान पीठ महाराष्ट्र में सत्ता संघर्ष से संबंधित मामले की सुनवाई कर रही है, इस दौरान इसे प्रायोगात्मक रूप से शुरू किया गया.

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अदालती कार्यवाही के लाइव ट्रांसक्रिप्शन को प्रदर्शित करने वाली स्क्रीन को वकीलों के सामने कोर्ट रूम 1 में रखा गया है. भविष्य में सुप्रीम कोर्ट मौखिक दलीलों की प्रतिलिपि अपनी वेबसाइट पर उपलब्ध करा सकता है.

फैसले से बदला सबकुछ

गौरतलब है देश के न्यायिक इतिहास में 27 ​सितंबर 2022 का दिन ऐतिहासिक तौर पर दर्ज पर है जब देश की सर्वोच्च अदालत ने पहली बार अदालत की लाइव स्ट्रीमिंग की गई थी.

और यह ऐतिहासिक दिन सुप्रीम कोर्ट के उस ऐतिहासिक फैसले के ठीक 4 साल बाद आया था जो कि 27 सितंबर, 2018 को देश के तत्कालीन मुख्य न्यायाधीश दीपक मिश्रा की पीठ ने दिया था.

इस फैसले में सुप्रीम कोर्ट ने संवैधानिक महत्व के मामलों में महत्वपूर्ण कार्यवाही के लाइव टेलीकास्ट करने का फैसला सुनाया था.

जिसके बाद से ही सुप्रीम कोर्ट (Supreme Court) में संविधान पीठ (Constitution Bench) की कार्यवाही (Proceedings) को लाइव स्ट्रीम (Live Stream) देखा और सुना जा सकता है. लाइव स्ट्रीमिंग को लेकर अब सुप्रीम कोर्ट की ओर से गाइडलाइंस भी जारी कर दी गई हैं.