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अग्रिम जमानत के लिए पूजा खेडकर ने खटखटाया सु्प्रीम कोर्ट का दरवाजा, दिल्ली हाईकोर्ट के फैसले को दी चुनौती

पूजा खेडकर की अग्रिम जमानत याचिका पर सुप्रीम कोर्ट कल सुनवाई होगी. इस याचिका को जस्टिस बीवी नागरत्ना और जस्टिस सतीश चंद्र शर्मा की पीठ के समक्ष इस मामले को सूचीबद्ध किया जाएगा.

पूडा खेडकर, सुप्रीम कोर्ट

Written by Satyam Kumar |Published : January 14, 2025 8:01 PM IST

पूर्व ट्रेनी आईएएस पूजा खेड़कर ने सिविल सेवाओं की परीक्षा में धोखाधड़ी और ओबीसी तथा विकलांगता कोटा का गलत तरीके से लाभ लेने के आरोप में सुप्रीम कोर्ट में अग्रिम जमानत के लिए याचिका दायर की है. पूजा खेडकर ने अग्रिम जमानत याचिका की मांग के लिए दिल्ली हाईकोर्ट के 23 दिसंबर, 2024 के फैसले को चुनौती दी है. अग्रिम जमानत की मांग याचिका खारिज करते हुए दिल्ली हाईकोर्ट ने कहा था कि पूजा के खिलाफ एक प्रथम दृष्टतया मामला दिखाई पड़ता है, जिसके लिए पूछताछ आवश्यक है. इस दौरान दिल्ली पुलिस और शिकायतकर्ता संघ लोक सेवा आयोग (UPSC) के वकील ने अग्रिम जमानत की याचिका का विरोध किया था, जिसे ध्यान में रखते हुए दिल्ली हाईकोर्ट ने अग्रिम जमानत की याचिका को खारिज करते हुए कहा कि गिरफ्तारी से पहले की जमानत देने से जांच प्रभावित हो सकती है.

सुप्रीम कोर्ट में इस मामले की सुनवाई 15 जनवरी करेगी. पूजा खेडकर की याचिका को जस्टिस बीवी नागरत्ना और जस्टिस सतीश चंद्र शर्मा की पीठ के समक्ष इस मामले को सूचीबद्ध किया जाएगा.

पूजा ने सभी आरोपों का खंडन किया है और कहा है कि वह जांच में सहयोग करने के लिए तैयार हैं. उनके वकील ने यह तर्क दिया कि सभी सामग्री दस्तावेजी है, इसलिए उनकी हिरासत की आवश्यकता नहीं है. हालांकि, दिल्ली पुलिस ने कहा कि उनकी हिरासत आवश्यक है ताकि अन्य लोगों की संलिप्तता का पता लगाया जा सके.

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यूपीएससी ने पूजा के खिलाफ धोखाधड़ी का मामला दर्ज किया है, जिसमें आरोप लगाया गया है कि उन्होंने अपनी पहचान छुपाकर सिविल सेवाओं की परीक्षा में प्रयास किए। यूपीएससी ने कहा कि यह धोखाधड़ी समाज और एक संवैधानिक निकाय के खिलाफ की गई है.

खेडकर पर आरक्षण लाभ पाने के लिए यूपीएससी सिविल सेवा परीक्षा, 2022 के लिए अपने आवेदन में गलत जानकारी देने का आरोप है. बता दें कि UPSC ने पहले ही उन्हें ट्रेनी आईएएस के तौर पर बर्खास्त कर दिया है.