नई दिल्ली: Indian cricketer Mohammad Shami के उनकी पत्नी की ओर से दायर मामले में कानूनी मुश्किले बढ सकती है. मोहम्मद शमी से अलग रह रही उनकी पत्नी हसीन जहां ने दहेज की मांग और घरेलू हिंसा के मामले में शमी के खिलाफ सुप्रीम कोर्ट का रूख किया है.
हसीन जहां ने सुप्रीम कोर्ट में याचिका दायर कर शमी के खिलाफ आपराधिक मुकदमे को फिर से शुरू करने और क्रिकेटर की गिरफ्तारी पर सत्र अदालत द्वारा लगाई गई रोक को हटाने की मांग की है.
सुप्रीम कोर्ट में दायर याचिका में शमी की पत्नी की ओर से कहा गया है कि पिछले 4 साल से इस मामले की सुनवाई आगे नहीं बढ़ी और रुकी हुई है.
पत्नी ने याचिका में कहा है कि चार सालों में शमी निचली अदालत में पेश नहीं हुए और जमानत के लिए आवेदन भी नहीं किया है.
याचिका में क्रिकेटर की पत्नी ने दावा किया कि शमी उससे दहेज की मांग करता था और वह लगातार अवैध विवाहेतर संबंधों में शामिल रहा है.
गौरतलब है कि पत्नी की ओर से दायर अपराधिक मामले में 2019 में पश्चिम बंगाल की एक सत्र अदालत ने शमी के खिलाफ जारी गिरफ्तारी वारंट पर रोक लगा दी थी. इसके साथ ही अदालत ने आपराधिक मुकदमे पर भी रोक लगा दी थी.
जिला सत्र अदालत के आदेश के खिलाफ दायर याचिका को कोलकोता हाईकोर्ट ने भी खारिज कर दिया था.
जनवरी 2023 में ही कोलकाता की एक सत्र अदालत ने क्रिकेटर शमी को अपनी पत्नी को प्रतिमाह 50,000 रुपये मासिक गुजारा भत्ता देने का आदेश दिया था.
सुप्रीम कोर्ट में दायर की गयी याचिका में आरोप लगाया गया है कि बीसीसीआई दौरों के दौरान शमी होटल के कमरों में वेश्याओं के साथ यौन संबंधों में शामिल थे.
याचिका में आरोप लगाया गया है कि शमी ने अपने संबंधो को दूसरे मोबाइल से हेंडल करते थे जिसे कोलकोता पुलिस ने जब्त कर लिया है.
याचिका में ये भी कहा गया है कि शमी अब भी वेश्याओं के साथ यौन गतिविधियों में शामिल हैं.