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दिल्ली पुलिस ने अदालत के समक्ष प्रदर्शनकारी पहलवानों से सम्बंधित स्टेटस रिपोर्ट की प्रस्तुत

प्रदर्शनकारी पहलवान बजरंग पुनिया, विनेश फोगट और अन्य पहलवान इस क्लिप में ऐसा कोई नारा लगाते नहीं दिख रहे हैं, पुलिस एटीआर मेट्रोपोलिटन मजिस्ट्रेट अनामिका के समक्ष प्रस्तुत हुई.

Written by My Lord Team |Published : June 9, 2023 6:26 PM IST

नई दिल्ली: दिल्ली पुलिस ने शुक्रवार को यहां एक अदालत के समक्ष कहा कि जिन पहलवानों का उनके खिलाफ दायर शिकायत में जिक्र किया गया है, उन्हें किसी भी अभद्र भाषा के मामले में नहीं फंसाया गया है.

समाचार एजेंसी आईएएनएस के अनुसार, पटियाला हाउस कोर्ट ने एक सामाजिक कार्यकर्ता और अटल जन शक्ति पार्टी के प्रमुख की शिकायत पर पुलिस से एक्शन टेकन रिपोर्ट (एटीआर) मांगी थी.

इसमें भारतीय कुश्ती महासंघ (WFI) के प्रमुख बृजभूषण शरण सिंह के खिलाफ यौन उत्पीड़न के झूठे आरोप लगाने के लिए पहलवान विनेश फोगट, बजरंग पुनिया और साक्षी मलिक के खिलाफ प्राथमिकी दर्ज करने की मांग की गई थी.

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अज्ञात सिख प्रदर्शनकारी लगा रहे थे नारा

एजेंसी केअनुसार पुलिस ने कोर्ट के सामने स्टेटस रिपोर्ट पेश की, जिसे स्वीकार कर लिया गया.

शिकायतकर्ता द्वारा प्रदान की गई एक वीडियो क्लिप में सिख प्रदर्शनकारियों को 'मोदी तेरी कबर खुदेगी, आज नहीं तो कल खुदेगी' का नारा लगाते हुए दिखाया गया है. पुलिस ने कहा कि वीडियो क्लिप की समीक्षा करने के बाद, यह स्पष्ट था कि अज्ञात सिख प्रदर्शनकारी नारा लगा रहे थे और पहलवान प्रदर्शनकारियों द्वारा अभद्र भाषा का कोई सबूत नहीं है.

शिकायत की सामग्री और शिकायतकर्ता द्वारा प्रदान की गई वीडियो क्लिप से अभद्र भाषा का कोई संज्ञेय अपराध का मामला नहीं बनता है.

जुलाई में होगी अगली सुनवाई

प्रदर्शनकारी पहलवान बजरंग पुनिया, विनेश फोगट और अन्य पहलवान इस क्लिप में ऐसा कोई नारा लगाते नहीं दिख रहे हैं, पुलिस एटीआर मेट्रोपोलिटन मजिस्ट्रेट अनामिका के समक्ष प्रस्तुत हुई.

पुलिस ने अदालत से आवेदन को खारिज करने का आग्रह किया और अवगत कराया कि महाराज द्वारा दायर दो अन्य शिकायतें, जिनमें बृजभूषण शरण सिंह पर बिना किसी ठोस सबूत के आरोप लगाया गया था, कनॉट प्लेस पुलिस स्टेशन को भेज दी उन शिकायतों के जवाब में पहलवानों द्वारा दो प्राथमिकी दर्ज की गई हैं. अदालत ने मामले को 7 जुलाई को सुनवाई के लिए सूचीबद्ध किया है.

शिकायत में आरोप लगाया गया है कि प्रदर्शनकारी प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के खिलाफ अभद्र भाषा बोलने में शामिल थे.