लंदन: ब्रिटेन में मादक पदार्थों की तस्करी के लिए नाबालिगों का इस्तेमाल करने पर भारतीय मूल की 28 वर्षीय एक महिला समेत छह लोगों को जेल भेजा गया है.
समाचार एजेंसी भाषा को, मेट्रोपॉलिटन पुलिस ने बताया कि सरीना दुग्गल को लंदन एवं बर्मिंघम और उसके आसपास मादक पदार्थों की आपूर्ति को नियंत्रित करने और बोर्नमाउथ में आपूर्ति करने वाले गिरोह में उसकी भूमिका के लिए पिछले सप्ताह सात साल की कैद की सजा सुनाई गई थी.
समूह के पांच सदस्यों को पिछले महीने बोर्नमाउथ क्राउन कोर्ट में सात सप्ताह की सुनवाई के बाद दोषी पाया गया था. दुग्गल को बृहस्पतिवार को उसी अदालत में सजा सुनाई गई.
पुलिस के नेतृत्व वाले ऑपरेशन ओरोची के एक अधिकारी जैक जैफरीज की माने तो, “इस जांच के परिणामस्वरूप बोर्नमाउथ की सड़कों पर कोकीन और हेरोइन की आपूर्ति करने वाली ‘काउंटी ड्रग लाइन’ बंद हो गई. मादक पदार्थों की आपूर्ति से स्थानीय निवासी परेशान थे.”
एजेंसी से मिली जानकारी के अनुसार दुग्ल और गिरोह ने बोर्नमाउथ में उपयोगकर्ताओं को क्लास ए ड्रग्स- क्रैक कोकीन और हिरोईन की आपूर्ति करने के लिए गरीब बच्चों का इस्तेमाल कर रहे थें.
पुलिस को इसकी भनक तब लगी थी जब पिछले साल इस मामले में 16 साल के एक नाबालिग लड़के को गिरफ्तार किया गया था. तलासी के दौरान उसके पास से एक मौबाइल फोन जब्त किया गया. जब उस फोन को खंगाला गया तब पुलिस का शक और गहरा हो गया.
खबरों के अनुसार पुलिस के द्वारा सघन जांच ऑपरेशन चलाई गई जिसके तहत बोर्नमाउथ के भीतर एक होटल में लगे सीसीटीवी को भी खंगाला. फुटेज की मदद से चार अन्य आरोपियों की शिनाख्त की गई.
जानकारी के लिए आपको बता दें कि सितंबर 2022 में पुलिस के सर्च ऑपरेशन के दरम्यान गिरोह को दो अन्य सदस्यों को गिरफ्तार किया गया. उनके पास से भारी मात्रा में क्रेक कोकीन और हिरोइन बरामद किया गया था. इसके अलावा 16 का एक और लड़का लापता हो गया था जिसे बोर्नमाउथ के बोस्कॉम्बे के एक फ्लैट के भीतर पाया गया था.