Supreme Court ने निरस्त किया TMC नेता Kuntal Ghosh पर 25 लाख रुपये के जुर्माने वाला Calcutta High Court का आदेश
नई दिल्ली: सुप्रीम कोर्ट ने पश्चिम बंगाल में कथित शिक्षक भर्ती घोटाले के आरोपी तृणमूल कांग्रेस (टीएमसी) की युवा इकाई के नेता कुंतल घोष को शुक्रवार को राहत देते हुए उनके ऊपर 25 लाख रुपये का जुर्माना लगाने का कलकत्ता उच्च न्यायालय का आदेश निरस्त कर दिया।
समाचार एजेंसी भाषा के अनुसार प्रधान न्यायाधीश डी वाई चंद्रचूड़, न्यायमूर्ति जे बी पारदीवाला और न्यायमूर्ति मनोज मिश्रा की पीठ ने कहा कि घोष "हिरासत में यातना" का मुद्दा इस मामले की सुनवाई कर रही विशेष अदालत के समक्ष उठा सकते हैं।
घोष की ओर से पेश वरिष्ठ वकील सिद्धार्थ दवे ने कहा कि मामले के गुण-दोष को लेकर उच्च न्यायालय द्वारा की गई टिप्पणियां और 25 लाख रुपये का जुर्माना लगाया जाना अनुचित है।
Also Read
- आवारा कुत्तों को खाना देने पर SC का नया आदेश, नियम तोड़ने पर लगेगा भारी जुर्माना, जान लें पूरा फैसला
- 'वोटर लिस्ट से बाहर हुए नामों को सार्वजनिक करें', सुप्रीम कोर्ट ने चुनाव आयोग को दिया अहम आदेश
- आवारा कुत्तों पर SC सख्त, कहा- 'समस्या की वजह अधिकारियों की निष्क्रियता', पुराने आदेश पर रोक की मांग पर फैसला रखा सुरक्षित
पीठ ने कहा, ''पच्चीस लाख रुपये के जुर्माने के भुगतान का आदेश रद्द होगा।''
कलकत्ता उच्च न्यायालय की न्यायाधीश अमृता सिन्हा ने मई में मुख्यमंत्री ममता बनर्जी के भतीजे एवं टीएमसी महासचिव अभिषेक बनर्जी और कुंतल घोष की उन याचिकाओं को खारिज कर दिया था, जिनमें सीबीआई और प्रवर्तन निदेशालय को इस घोटाले में दोनों से पूछताछ को लेकर न्यायमूर्ति अभिजीत गंगोपाध्याय द्वारा दिए गए आदेश को वापस लेने की मांग की गई थी।
उन्होंने न्यायमूर्ति गंगोपाध्याय के 13 अप्रैल के आदेश को रद्द कराने की कोशिश में अदालत का समय बर्बाद करने के लिए प्रत्येक पर 25 लाख रुपये का जुर्माना भी लगाया था।