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The Kerala Story फिल्म पर रोक से Supreme Court का इंकार

Supreme Court ने याचिकाकर्ता संगठन मुस्लिम संगठन जमीयत उलमा ए हिंद को हाईकोर्ट का दरवाजा खटखटाने को कहा है.

Written By Nizam Kantaliya | Published : May 3, 2023 11:36 AM IST

नई दिल्ली: The Kerala Story फिल्म के खिलाफ मुस्लिम संगठन जमीयत उलमा एक हिंद की ओर से दायर याचिका पर सुप्रीम कोर्ट ने सुनवाई से इंकार कर दिया है. सुप्रीम कोर्ट ने याचिकाकर्ता संगठन को हाईकोर्ट का दरवाजा खटखटाने को कहा है.

The Kerala Story फिल्म को 5 मई से देश भर में एक साथ रिलीज की जाने वाली है. जमीयत उलमा-ए-हिंद ने मंगलवार को सुप्रीम कोर्ट में याचिका दायर करते हुए फिल्म की रिलीज पर रोक लगाने की मांग की थी. याचिका में कहा गया कि यह फिल्म पूरे मुस्लिम समुदाय को बदनाम कर रही है.

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याचिका में कहा गया है कि इस फिल्म का उद्देश्य स्पष्ट रूप से भारत में समाज के विभिन्न वर्गों के बीच नफरत और दुश्मनी फैलाना है.याचिका में जमीयत उलमा-ए-हिंद ने सभी प्लेटफार्म पर याथ सिनेमाघरों, ओटीटी (ओवर द टॉप) प्लेटफॉर्म और ऐसे अन्य तरीकों से रिलीज करने पर फिल्म को रिलीज करने से रोक लगाने की मांग की है.

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याचिका में कहा गया है कि फिल्म पूरे मुस्लिम समुदाय को नीचा दिखाती है और इसके परिणामस्वरूप मुसलमानों के जीवन और आजीविका को खतरा होगा.

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5 मई को होगी रिलीज

The Kerala Story केरल की महिलाओं के एक समूह के बारे में एक हिंदी फिल्म है जो इस्लामिक स्टेट ऑफ इराक एंड सीरिया (ISIS) में शामिल हो जाती है. फिल्म 5 मई, शुक्रवार को रिलीज होने वाली है।

जमीयत की याचिका में कहा गया है कि फिल्म का उद्देश्य स्पष्ट रूप से भारत में समाज के विभिन्न वर्गों के बीच नफरत और दुश्मनी फैलाना है।

याचिका में कहा गया है, "फिल्म यह संदेश देती है कि गैर-मुस्लिम युवतियों को उनके सहपाठी इस्लाम कबूल करने के लिए बहला-फुसलाकर ले जाते हैं और बाद में उनकी तस्करी कर पश्चिम एशिया ले जाते हैं, जहां उन्हें आतंकवादी संगठन में शामिल होने के लिए मजबूर किया जाता है.

याचिका में कहा गया है कि यह फिल्म यह आभास देती है कि चरमपंथी मौलवियों के अलावा, जो लोगों को कट्टरपंथी बनाते हैं, सामान्य मुस्लिम युवा, उनके सहपाठी भी गैर-मुस्लिमों को लुभाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं और मित्रवत और नेकदिल बनकर उन्हें कट्टरपंथी बनाते हैं.

झूठा आंकड़ा

याचिका में कहा गया है कि इस फिल्म के जरिए एक झूठा आंकड़ा पेश किया गया है कि 32,000 लड़कियां आईएसआईएस में शामिल होने के लिए पश्चिम एशिया के लिए केरल छोड़ चुकी हैं, हालांकि संयुक्त राष्ट्र, केंद्रीय गृह मंत्रालय, पुलिस स्रोत और विशेषज्ञ इस बात से सहमत हैं कि आईएसआईएस में शामिल होने वाले भारतीयों की संख्या लगभग 66 है और अधिकतम संख्या 100 से 200 के बीच है.

याचिका में फिल्म की रिलीज पर रोक लगाने के अलावा ट्रेलर को इंटरनेट से हटाने की मांग की गई है.

याचिका में विकल्प के रूप में, याचिका में फिल्म से कुछ दृश्यों और संवादों को हटाने का सुझाव देने के लिए केंद्रीय फिल्म प्रमाणन बोर्ड को निर्देश देने की मांग की गई है.