सुप्रीम कोर्ट पहुंचे केजरीवाल, 'रिहाई पर रोक' के फैसले को दी है चुनौती
Arvind Kejriwal Bail Plea: दिल्ली के मुख्यमंत्री और आम आदमी पार्टी (आप) के प्रमुख अरविंद केजरीवाल अपनी रिहाई पर लगी रोक को हटाने के लिए सुप्रीम कोर्ट पहुंच गए हैं. सर्वोच्च न्यायालय में केजरीवाल ने दिल्ली हाईकोर्ट द्वारा नियमित जमानत पर रोक लगाने के फैसले चुनौती दी है. बता दें कि राउज एवेन्यू कोर्ट ने अरविंद केजरीवाल को नियमित जमानत दे दी है. जिसके बाद ED ने 'नियमित जमानत' के फैसले को दिल्ली हाईकोर्ट में चुनौती दी. याचिका पर सुनवाई करते हुए दिल्ली हाईकोर्ट ने अरविंद केजरीवाल की रिहाई पर रोक लगा दी है. केजरीवाल ने इसी रिहाई पर लगे रोक को सुप्रीम कोर्ट में चुनौती दी है.
लाइव अपडेट
सुप्रीम कोर्ट ने पक्षों को सुनने के बाद मामले को बुधवार को सूचीबद्ध करने के निर्देश दिया.
सुप्रीम कोर्ट ने आदेश सुनाया.
कोर्ट: स्थगन आवेदन पर आदेश सुरक्षित रखा गया और तब तक निचली अदालत के जमानत देने के आदेश पर रोक लगा दी गई है. पक्षों को 24 जून तक अपना संक्षिप्त जवाब दाखिल करने का अवसर दिया जाता है.
ASG: स्टे आवेदन पर आदेश शीघ्र ही पारित किया जाएगा और इसलिए शीर्ष न्यायालय से स्थगन का अनुरोध किया जाता है. यदि यह उचित समझते हैं कि मामले को अगले दिन सूचीबद्ध किया जाए और यदि हाईकोर्ट इस बीच कोई आदेश पारित करता है, तो उसे रिकॉर्ड पर लाया जाए.
सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई पूरी हुई.
ASG: यह एक अलग मामला है.
सिंघवी: उनका कहना है कि वे निचली अदालत के आदेश की खामियों के चलते ही (जमानत) आदेश को पलटने की मांग कर रहे हैं.
चौधरी: यह कहना कि अगर उसे रिहा कर दिया गया तो कुछ गड़बड़ हो जाएगी, न्याय का सबसे बड़ा उपहास होगा.
चौधरी के तर्क को सिंघवी ने पूरा किया.
सिंघवी: हाईकोर्ट ने 10:30 बजे आदेश दिया और आदेश को बिना किसी कारण के पारित किया गया था और आदेश देने के बाद ही दलीलें सुनी गईं. एक बार जमानत मिल जाने के बाद, इसे इतनी आसानी से पलटा नहीं जा सकता... ऐसा सुप्रीम कोर्ट ने माना है. श्री राजू ने स्वीकार किया कि उनके भागने का जोखिम नहीं है आदि.
अदालत में सीनियर एडवोकेट विक्रम चौधरी भी मौजूद हैं.
चौधरी: लिस्टिंग की अनुमति देते समय कोई पेपर बुक नहीं थी.
सुप्रीम कोर्ट ने अपनी स्थिति बताई.
कोर्ट: यहां हम कोई आदेश पारित करते हैं, तो हम मामले का पूर्व-निर्णय करेंगे. यहां हाईकोर्ट है, अधीनस्थ न्यायालय नहीं है.
एसवी राजू ने बीच में टोका, तो विक्रम चौधरी ने आपत्ति जताई.
कोर्ट: विक्रम चौधरी को अपनी बात पूरी करने दीजिए.
एसवी राजू ने अदालत को सूचित किया. दिल्ली हाईकोर्ट का फैसला कल तक आ जाएगा.
एएसजी राजू: आदेश कल आएगा.
सिंघवी: प्रक्रिया अज्ञात है. पहले स्टे दिया गया और बाद में दलीलें सुनी गईं.
कोर्ट: वकील ने संक्षिप्त प्रस्तुतियां दी हैं और इसका अर्थ है कि (हाईकोर्ट) आदेश एक या दो दिन में आ जाएगा.
सिंघवी: मैं इसकी सराहना करता हूं और आदेश आने की उम्मीद है, लेकिन क्या जमानत पर रोक लगाई जा सकती है? मुझे क्यों नहीं छोड़ा जा सकता? मेरे भागने का खतरा नहीं है.
सीनियर एडवोकेट मनु सिंघवी अरविंद केजरीवाल की ओर से पेश हुए.
मनु सिंघवी: जमानत मंजूर होना और जमानत रद्द होना दोनों अलग-अलग बातें हैं. पहले दिन जमानत पर रोक लगाने की प्रक्रिया अभूतपूर्व है. सुविधा का संतुलन मेरे पक्ष में है। अगर याचिका खारिज हो जाती है तो वह फिर से जेल चले जाएंगे और तीन सप्ताह पहले जैसी स्थिति में पहुंच जाएंगे जब उन्होंने सुप्रीम कोर्ट के आदेशानुसार आत्मसमर्पण किया था.
Courtroom Live: सुप्रीम कोर्ट पहुंचे केजरीवाल, 'रिहाई पर रोक' के फैसले को दी है चुनौती
सुनवाई शुरू हुई.
ED की ओर से भारत के सॉलिसिटर जनरल तुषार मेहता मौजूद हैं.