इस मामले में दंपति की शादी जनवरी 2008 में हुई थी और अप्रैल 2013 में उन्हें एक बच्चा हुआ. वहीं, 2015 में दोनों के बीच वैवाहिक विवाद हो गया, जो कि तलाक याचिका तक पहुंच गया. फैमिली कोर्ट ने अप्रैल 2017 में दंपति को तलाक देते हुए पति को अपनी पत्नी को ₹25,000 प्रति माह भरण-पोषण देने का आदेश दिया.