PIT NDPS Act: क्रास-बॉर्डर ड्रग्स सप्लाई को रोकने के लिए बना कानून

Satyam Kumar

Image Credit: my-lord.in | 24 Mar, 2025

जग्गू भगवानपुरिया को पंजाब पुलिस ने बठिंडा से असम के सिलचर सेन्ट्रल जेल में ट्रांसफर किया है. आरोपी के खिलाफ यह कार्रवाई नशीले पदार्थों और मन: प्रभावी पदार्थों के अवैध ट्रैफिकिंग को रोकने के लिए बनाए गए PITNDPS अधिनियम, 1988 के तहत की गई है.

Image Credit: my-lord.in

भगवानपुरिया, जो पंजाब के गुरदासपुर का निवासी है, 2012 से अब तक 128 आपराधिक मामलों में शामिल रहा है. वह प्रसिद्ध पंजाबी गायक सिद्धू मूसेवाला की हत्या में भी आरोपी है.

Image Credit: my-lord.in

भगवानपुरिया का नेटवर्क हेरोइन, अफीम, मनोवैज्ञानिक पदार्थों और अवैध हथियारों की तस्करी से जुड़ा है. पुलिस ने बयान देकर बताया कि जेल भी वह मोबाइल फोन से अपने नेटवर्क को सक्रिया रखा है. उसके कनाडा, अमेरिका और पाकिस्तान में इंटरनेशनल ऑपरेटरों के साथ संबंधों ने उसे असम में ट्रांसफर किया गया है.

Image Credit: my-lord.in

PITNDPS अधिनियम, 1988 अधिकारियों को अपराधियों को अलग करने और उनकी जेल आधारित नेटवर्क को काटने के लिए निवारक उपाय करने की शक्ति देता है. आइये जानते हैं PITNDPS कानून के मुख्य प्रावधान...

Image Credit: my-lord.in

भारत सरकार ने 1988 में नशीले पदार्थों और मन: प्रभावी पदार्थों के अवैध व्यापार को रोकने के लिए PITNDPS अधिनियम लागू किया है. यह अधिनियम अवैध गतिविधियों में संलग्न व्यक्तियों को हिरासत में रखने की अनुमति देता है.

Image Credit: my-lord.in

इस अधिनियम में एक सलाहकार बोर्ड की स्थापना के लिए प्रावधान हैं, जिसका कार्य अधिनियम के तहत हिरासत के मामलों की समीक्षा करना और यह सिफारिश करना है कि हिरासत जारी रखी जानी चाहिए या व्यक्ति को रिहा किया जाना चाहिए.

Image Credit: my-lord.in

सलाहकार बोर्ड में एक अध्यक्ष होता है जो हाई कोर्ट का जज रहा हो और दो अन्य सदस्य होते हैं जो हाई कोर्ट के जज के रूप में नियुक्त होने के योग्य होते हैं.

Image Credit: my-lord.in

PITNDPS अधिनियम का उद्देश्य अवैध ट्रैफिक की रोकथाम के लिए प्रभावी उपाय प्रदान करना है. यह उन व्यक्तियों की पहचान करने व हिरासत में रखने के लिए आवश्यक है जो इन अवैध गतिविधियों में किसी न किसी रूप में शामिल हैं.

Image Credit: my-lord.in

विशेषकर उन क्षेत्रों में जहां अवैध ट्रैफिक की गतिविधियां गुप्त रूप से संचालित होती हैं. पंजाब पुलिस ने इसी एक्ट के तहत कार्रवाई करते हुए जग्गू भगवानपुरियो को असम जेल में ट्रांसफर किया है.

Image Credit: my-lord.in

पढ़ने के लिए धन्यवाद!

Next: जस्टिस यशवंत वर्मा ने अपने डिफेंस में कही ये बातें

अगली वेब स्टोरी