जब कभी आपके पास पुलिस थाने से कोई फोन कॉल आता है और आपको पता चलता है कि आपके विरुद्ध एफआईआर दर्ज हुई है और आपको थाने आने के लिये कहा जाता है
Image Credit: my-lord.inसर्वप्रथम, आप यह पता करने कि कोशिश करें कि आपके खिलाफ किस थाने में एफआईआर दर्ज हुई है
Image Credit: my-lord.inउस थाने में फोन कॉल के माध्यम से पता करें कि आप के खिलाफ किस अपराध में या किन -किन धाराओं के तहत एफआईआर दर्ज हुई है
Image Credit: my-lord.inCriminal Procedure Code के अनुच्छेद 438 के तहत ऐसी जमानत देने की शक्ति सेशन न्यायालय और उच्च न्यायालय को दी गई है। यह दोनों न्यायालय किसी अपराध में आरोपी को गिरफ्तारी के पहले ही जमानत दे सकते हैं
Image Credit: my-lord.inसभी जानकारी को प्राप्त करने के पश्चात वकील से संर्पक करें और उससे कानूनी सलाह लें, और जो भी मामला आपके विरुद्ध बनता हो उससे निजात पाने के लिए आप पुलिस थाने से या फिर न्यायालय से जमानत लेने के लिए आवेदन कर सकते है
Image Credit: my-lord.inहाईकोर्ट में CrPC की धारा 482 के तहत जब एप्लीकेशन दी जाती है और फिर सुनवाई होती है और अगर कोर्ट को लगता है कि आपने जो भी प्रमाण या सबूत पेश दिए हैं वो सही हैं, और वो आपकी बेगुनाही को साबित करते हैं तो कोर्ट उस FIR को खारिज करने का आदेश देती है
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