हर वो व्यक्ति जिनकी आय़ इमकम टैक्स नियमों के दायरे में आती है उनका टैक्स फाईल करना अनिवार्य़ है. नियमों के अनुसार हर व्यक्ति के लिए अलग- अलग फॉर्म आते हैं. जो लोग इस समय टैक्स रिटर्न फाइल करने के इंतजार में हैं, उन्हे कुछ बातों का ख्याल रखना चाहिए
Image Credit: my-lord.inयह फॉर्म उनके लिए हैं जो किसी संगठन में नौकरी करते हैं. यह फॉर्म कंपनी की ओर से दिया जाता है. इसमें सैलरी पर लगे टैक्स की सारी जानकारी होती है. इसलिए कर्मचारियों को नियोक्ताओं से आय़ से संबंधित कोई जानकारी छुपानी नहीं चाहिए
Image Credit: my-lord.inआयकर रिटर्न फाइल करने से आपको एक बार 26AS फॉर्म भी जरूर चेक करना चाहिए. ध्यान रहे कोई गलती ना हो
Image Credit: my-lord.inफॉर्म 26AS चेक करने के बाद Annual Information Statement Form भी चेक करना चाहिए. इससे पूरे साल में किए गए ट्रांजेक्शन का पता चलता है. सैलरी के अलावा रेंट या ब्याज आदि से होने वाली कमाई के बारे में भी पता चलेगा. अगर आपकी कमाई सैलरी के अलावा दूसरे तरीकों यानी रेंट या ब्याज आदि से भी हुई है, तो उसकी जानकारी भी एआईएस फॉर्म में मिल जाएगी
Image Credit: my-lord.inशेयर या म्यूचुअल फंड में इंवेस्टमेंट पर हुए 1 लाख रुपये से अधिक के कैपिटल गेन पर 10 फीसदी टैक्स भरना होगा लेकिन शॉर्ट टर्म कैपिटल गेन पर 15 फीसदी टैक्स चुकाना होगा. इस टैक्स की कैल्कुलेशन को खुद ब्रोकरेज फर्म की तरफ से कर के ग्राहकों को भेजी जाती है
Image Credit: my-lord.inकिसी भी तरह के ब्याज से हुई कमाई की भी जानकारी ITR फाईल करते समय देनी होगी. AIS फॉर्म में भी ये जानकारी मिल जाएगी, क्योंकि उसमें पैन कार्ड से जुड़ी हर ट्रांजेक्शन का रेकॉर्ड होता है. इस तरह के कामों में गलत इनकम दिखाने पर आयकर विभाग की तरफ से नोटिस भेजा जाता है
Image Credit: my-lord.inअगर क्रिप्टो से कमाई हुई है तो उसे भी दिखाएं. क्रिप्टो एसेट से हुई कमाई पर 30 फीसदी टैक्स चुकाना होता है. आईटीआर फाइल करते वक्त इसकी जानकारी ना देने पर आयकर विभाग नोटिस भेजती है
Image Credit: my-lord.inअगर किसी का घर है विदेशों में और उससे इनकम होती है या विदेशी बैंक में पैसे हैं तो उसकी भी जानकारी देनी होगी
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