हाल ही में सुप्रीम कोर्ट ने एक अहम फैसला कहा कि किसी मामले में गिरफ्तार व्यक्ति एक दूसरे मामले में जमानत की मांग कर सकता है.
Image Credit: my-lord.inसुप्रीम कोर्ट ने कहा कि आरोपी को किसी मामले में अग्रिम जमानत मांगने का अधिकार है, जब तक कि उसे मामले में गिरफ्तार नहीं किया जाता है.
Image Credit: my-lord.inसीजेआई की अगुवाई वाली पीठ इस कानूनी मुद्दे पर सवाल उठाया कि क्या गिरफ्तार आरोपी को दूसरे मामले में अग्रिम जमानत दी जा सकती है.
Image Credit: my-lord.inवहीं गिरफ्तारी के बाद उसके पास केवल रेगुलर जमानत मांगने पाने के लिए आवेदन करने का उपाय बच जाता है.
Image Credit: my-lord.inसुप्रीम कोर्ट ने इस दौरान ये भी कहा कि सीआरपीसी या किसी अन्य कानून में ऐसा कोई रोक नहीं है जो हाईकोर्ट या सेशन कोर्ट गिरफ्तार व्यक्ति की अग्रिम जमानत की सुनवाई पर रोक लगाता हो,
Image Credit: my-lord.inअदालत ने साफ तौर पर कहा कि अगर हिरासत में लिए गए व्यक्ति को जांच एजेंसी पहले गिरफ्तार कर लेती है तो उसके पास अग्रिम जमानत मांगने का अधिकार नहीं रह जाएगा,
Image Credit: my-lord.inवहीं अगर आरोपी को पहले अग्रिम जमानत मिल जाती है तो जांच एजेंसी के पास हिरासत मांगने का अधिकार नहीं है.
Image Credit: my-lord.inसुप्रीम कोर्ट ने कहा कि एक मामले में हिरासत का प्रभाव दूसरे मामले में गिरफ्तारी को की आशंका खत्म नहीं होती है, इसलिए आरोपी को उस मामले में अग्रिम जमानत मांगने का हक है.
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