हाल ही में इलाहाबाद हाईकोर्ट ने एक वकील पर दस हजार का जुर्माना लगाया है.
Image Credit: my-lord.inवाक्या यूं हुआ वकील साहब मुवक्किल के लिए जमानत की मांग को लेकर अदालत में बहस कर रहे थे.
Image Credit: my-lord.inदलीलें सुनने के बाद अदालत ने जमानत की मांग की खारिज कर दी है.
Image Credit: my-lord.inअदालत के फैसला सुनाने के बाद भी एडवोकेट के जिरह करने पर नाराजगी जताई.
Image Credit: my-lord.inफैसले के बाद भी एडवोकेट के जिरह करने के इस कृत्य को अदालत की अवमानना मामला पाया है,
Image Credit: my-lord.inजस्टिस ने कहा, "न्याय अदालत में अधिवक्ताओं की दोहरी जिम्मेदारियों को रेखांकित करता है. जबकि उन्हें अपने मुवक्किलों के हितों प्रतिनिधित्व करने के साथ ही अदालत में सम्मानजनक और अनुकूल वातावरण बनाए रखना भी उनका एक महत्वपूर्ण कर्तव्य है."
Image Credit: my-lord.inजस्टिस ने आगे कहा, "अधिवक्ताओं को व्यवधान पैदा करने के बजाय अदालत की सहायता करनी चाहिए, यह सुनिश्चित करना चाहिए कि कार्यवाही व्यवस्थित और सम्मानजनक हो, जो न्यायिक प्रक्रिया की गरिमा को बनाए रखता है."
Image Credit: my-lord.inअदालत ने वकील ने जुर्माना लगाते हुए कहा, "आवेदक के वकील का रवैया निंदनीय है तथा उन पर 10,000 रुपए का जुर्माना लगाया जाता है, जिसे आज से 15 दिनों के भीतर हाईकोर्ट के विधिक सेवा प्राधिकरण के खाते में जमा कराना होगा."
Image Credit: my-lord.inअदालत ने एडवोकेट को जुर्माने राशि भुगतान करने के निर्देश दिए हैं.
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